- जिलाधिकारी अमन समीर ने हरी झंडी दिखाकर सारथी रथ किया रवाना
- जिले में चार दिसंबर तक पुरुष नसबंदी पखवाड़ा का किया जाएगा आयोजन
बक्सर | जिले में जनसंख्या स्थिरीकरण के उद्देश्य से 14 नवंबर से 4 दिसंबर तक पुरुष नसबंदी पखवाड़ा का आयोजन किया जाएगा। जिसके प्रचार प्रसार के लिए जिलाधिकारी अमन समीर तथा सिविल सर्जन डॉ. जितेंद्र नाथ ने संयुक्त रूप से हरी झंडी दिखाकर सारथी रथ को कलेक्ट्रेट परिसर से रवाना किया। इस सारथी रथ के माध्यम से पंचायतों, गांवों और वार्डों में परिवार नियोजन में पुरुषों की भागीदारी, सुखी परिवार हेतु परिवार नियोजन का महत्व, सही उम्र पर लड़की की शादी, मानसिक एवं शारीरिक स्वास्थ्य के लिए साफ सफाई एवं स्वच्छता का महत्व इत्यादि विषयों पर जन जागरण हेतु प्रचार प्रसार किया जाएगा ।
इस अवसर पर जिलाधिकारी ने सिविल सर्जन को निर्देश दिया कि वो जिले में पुरुष नसबंदी को बढ़ावा देने के लिए विशेष रणनीति अपनाएं। इसके लिए सिविल सर्जन सभी प्रखंडों में चिकित्सक वार पुरुष नसबंदी का लक्ष्य निर्धारित करें। साथ ही, इस अभियान में सहयोगी विभागों और संस्थाओं की मदद लें। ताकि अधिक से अधिक पुरुष नसबंदी को सुनिश्चित किया जा सके।
सरथी रथ के साथ रहेंगी आशा कार्यकर्ताएं :
इस दौरान सिविल सर्जन डॉ. जितेंद्र नाथ ने जिलाधिकारी को बताया कि पुरुष नसबंदी पखवाड़ा के अवसर पर इस प्रकार का रथ जिले के प्रत्येक प्रखंड में चलाया जा रहा है। रथ को विशेष रूप से प्रभावशाली बनाने के उद्देश्य से प्रत्येक सारथी रथ के ऊपर आशा कार्यकर्ताओं की प्रतिनियुक्ति की गई है। ताकि योग्य दंपतियों खासकर पुरुषों को परिवार नियोजन के लिए प्रोत्साहित किया जा सके तथा जो लाभार्थी परिवार नियोजन की अस्थाई विधियों यथा गर्भनिरोधक गोलियां, कंडोम इत्यादि अपनाने के लिए इच्छुक हैं उन्हें हाथों-हाथ सुविधा प्रदान की जा सके। इसके अलावा रथ पर माइकिंग की व्यवस्था की गई है। जिसके माध्यम से परिवार नियोजन के लिए संदेश प्रसारित किए जा रहे हैं। उन्होंने बताया कि 21 नवंबर से 4 दिसंबर तक जनसंख्या स्थिरता पखवाड़ा के तहत सभी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में इच्छुक लाभार्थियों को अभियान चलाकर उनकी इच्छा अनुसार गर्भनिरोधक सेवाएं उपलब्ध कराई जाएंगी। खासकर परिवार नियोजन में पुरुषों की भागीदारी सुनिश्चित करने पर जोर देते हुए अधिक से अधिक पुरुष नसबंदी करने का लक्ष्य रखा गया है।
योग्य दंपतियों को दी जाएगी बास्केट ऑफ चॉइस की जानकारी :
इस क्रम में 14 से 20 नवंबर तक प्रखंड स्तर पर आशा कर्मियों के द्वारा घर-घर जाकर पुरुष नसबंदी के प्रति जागरूकता, महिला पुरुष समानता, स्वस्थ जीवन हेतु साफ-सफाई एवं स्वच्छता का महत्व, सुखी एवं स्वस्थ जीवन हेतु परिवार नियोजन का महत्व, सही उम्र में शादी, पहला बच्चा शादी के 2 वर्ष बाद, एवं दो बच्चों के बीच 3 वर्ष का अंतर इत्यादि विषयों पर जन जागरण का कार्य किया जाएगा। इसके साथ ही आशा कार्यकर्ताओं द्वारा परिवार नियोजन कार्यक्रम के अंतर्गत उपलब्ध बास्केट ऑफ चॉइस से योग्य दंपतियों को अवगत कराया जायेगा तथा अस्थाई सेवाएं भी हाथों-हाथ उपलब्ध कराई जाएंगी। परिवार नियोजन के बास्केट ऑफ चॉइस में माला एन दैनिक गर्भनिरोधक गोलियां, इमरजेंसी गर्भनिरोधक गोलियां, छाया सप्ताहिक गर्भनिरोधक गोलियां, अंतरा 3 महीने के लिए लगाई जाने वाली गर्भनिरोधक सुई, कंडोम, आईयूसीडी, पीपीआईयूसीडी इत्यादि अस्थाई साधन तथा महिला एवं पुरुष नसबंदी जैसे परिवार नियोजन की स्थाई विधियां शामिल हैं ।
मौके पर सिविल सर्जन के साथ जिला कार्यक्रम प्रबंधक मनीष कुमार, जिला सामुदायिक उत्प्रेरक हिमांशु सिंह, जिला डाटा सहायक संतोष कुमार, नागेश पांडेय, प्रखंड सामुदायिक उत्प्रेरक प्रिंस कुमार तथा विनोद कुमार उपस्थित थे।
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