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शहरी के साथ ग्रामीण इलाकों में लोगों को परिवार नियोजन का संदेश देगा सारथी रथ: जिला पदाधिकारी-dm-buxar-bihar




- समाहरणालय से जिला पदाधिकारी ने 13 सारथी रथ को हरी झंडी दिखाकर किया रवाना
- 17 से 30 सितंबर तक मनाया जाएगा परिवार नियोजन सेवा पखवाड़ा
-  पुरुष नसबंदी कराने पर लाभुक को दी जाती हैं 3000 हजार रुपये प्रोत्साहन राशि

बक्सर । जनसंख्या स्थिरीकरण के उद्देश्य से जिले में दो सितंबर से विशेष ड्राइव चलाया जा रहा है। जिसके तहत 14 सितंबर तक दंपति संपर्क सप्ताह तथा 17 से 30 सितंबर तक पुरुष परिवार नियोजन सेवा पखवाड़ा का आयोजन किया जाएगा। जिसमें इच्छुक लाभुक महिलाओं का बंध्याकरण के साथ साथ पुरुषों की नसबंदी भी की जाएगी। इसके लिए जिले के शहरी क्षेत्र के साथ ग्रामीण इलाकों के पुरुषों को जागरूक करने के लिए गुरुवार को सारथी रथ रवाना किया गया। जिला पदाधिकारी अंशुल अग्रवाल ने समाहरणालय से 13 सारथी रथ को हरी झंडी दिखाई। जिला पदाधिकारी ने कहा कि राज्य सरकार और स्वास्थ्य विभाग का पूरा ध्यान स्थिरीकरण पर है। इसके लिए स्वास्थ्य विभाग द्वारा न केवल महिलाओं बल्कि पुरुषों को भी आगे आना होगा। ताकि, सभी अपने परिवार के साथ समाज को भी खुशहाल बना सकें। उन्होंने बताया कि 12 प्रखंडों के लिए 12 सारथी रथ भेजे गए हैं। वहीं, एक सारथी रथ सदर प्रखंड के शहरी इलाकों में लोगों को परिवार नियोजन के प्रति जागरूक करने में लगाया गया है। सभी सारथी रथ पर एक आशा प्रतिनियुक्त है, जो लोगों के बीच परिवार नियोजन के अस्थाई साधनों का वितरण करेंगी। साथ ही, लोगों को पुरुष नसबंदी के लिए भी प्रेरित करेंगी।

परिवार नियोजन में पुरुषों की भूमिका भी अहम :

इस क्रम में प्रभारी सिविल सर्जन डॉ. शालिग्राम पांडेय ने बताया कि जिला स्तर से लेकर ग्राम स्तर तक लोगों को विभिन्न माध्यमों से जागरूक किया जा रहा है। इस क्रम में पंचायतों में पुरुषों को जागरूक करने के लिए सारथी रथ भी रवाना किया गया है। जिसके माध्यम से पुरुषों को जनसंख्या स्थिरीकरण को लेकर परिवार नियोजन के स्थायी और अस्थायी दोनों साधानों के प्रति जानकारी दी जाएगी। ताकि अधिक से अधिक पुरुषों को नियोजन के स्थायी साधन अपनाने के लिए प्रेरित किया जा सके। परिवार नियोजन में महिलाओं के साथ पुरुष की भी अहम भूमिका होती है। दो बच्चों के बाद यदि किसी कारण से महिला नसबंदी नहीं कर सकती है तो पुरुष को नसबंदी करा लेनी चाहिए। इसके लिए उन्हें प्रोत्साहन राशि भी दी जाती है। साथ ही, पुरुष नसबंदी महिलाओं के बंध्याकरण से 20 गुना अधिक सरल और सुलभ है।




निर्धारित अवधि में पुरूष नसबंदी लक्ष्य पूरा करना है :

प्रभारी सिविल सर्जन ने बताया कि पुरुष नसबंदी और महिला बंध्याकरण के लिए लाभुकों को सारथी रथ के माध्यम से जागरूक किया जाएगा। सारथी रथ शहरी और ग्रामीण चौराहों पर खड़ा कर परिवार नियोजन के प्रति लोगों को जागरूक कर रही है। पखवाड़ा में हर स्वास्थ्य केंद्र के लिए पुरूष नसबंदी कराने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। निर्धारित अवधि में पुरूष नसबंदी लक्ष्य पूरा करना है। उन्होंने बताया कि पुरुष नसबंदी कराने पर व्यक्ति को 3000 हजार रुपये और प्रेरक को 400 रुपये प्रोत्साहन धनराशि तत्काल मिलता है। महिला नसबंदी कराने पर 2000 महिला को और प्रेरक को 300 रुपये मिलते हैं। प्रसव के बाद तत्काल महिला नसबंदी पर 3000 और प्रेरक को 400 रूपये प्रोत्साहन धनराशि दी जाती है। इसके अलावा अंतरा इंजेक्शन और आईयूसीडी पर भी प्रोत्साहन धनराशि की सुविधा है। मौके पर डीपीएम मनीष कुमार, डीपीसी जावेद आब्दी, डीएएम राजेश कुमार, डीसीएम हिमांशु कुमार सिंह, सदर बीएचएम प्रिंस कुमार सिंह व अन्य लोग मौजूद रहे।






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